दूर भगा कर तम हर घर को 
जगर मगर कर दें !
चलो आज हम सब मिल जुल कर 
जगमग जग कर दें ! 
रहे न कोई घर का कोना 
कहीं उपेक्षित, तम आच्छादित 
हो जाए मन का हर कोना 
हर्षित, गर्वित और आह्लादित
रच कर सुन्दर एक रंगोली  
घर पावन कर दें !
चलो आज हम सब मिल जुल कर 
जगमग जग कर दें !
गूँथ आम्र पल्लव से सुन्दर
द्वारे वन्दनवार सजाएं 
तेल और बाती से रच कर 
घर आँगन में दीप जलाएं 
माँ लक्ष्मी के स्वागत में हम 
घर मंदिर कर दें !
चलो आज हम सब मिल जुल कर 
जगमग जग कर दें ! 
जैसे आज सजाया घर को
मन का भी श्रृंगार करें 
ममता, करुणा, दया भाव से 
अतिथि का सत्कार करें 
द्वेष, ईर्ष्या, क्रोध मिटा कर 
मन निर्मल कर दें ! 
चलो आज हम सब मिल जुल कर 
जगमग जग कर दें !  
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दीपावली पर सुंदर आह्वान
ReplyDeleteहार्दिक धन्यवाद अनीता जी ! बहुत आभार आपका !
Deleteबहुत सुंदर रचना।
ReplyDeleteदेव दिवाली की अग्रिम शुभकामनाएं 🪔🪔🙏🙏
हार्दिक धन्यवाद रूपा जी ! बहुत बहुत आभार आपका !
Deleteसुंदर सृजन
ReplyDeleteहार्दिक धन्यवाद ओंकार जी ! आभार आपका !
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