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Tuesday, June 25, 2024

प्रेम प्रसाद - पहली प्रांजल प्रस्तुति





प्रियतम पुकारे

प्रेमातुर प्रणयिनी प्रियतमा

परसे परछाईं

पूछे प्रश्न प्रति प्रश्न

प्रबल प्रखर प्रवाहमान प्रेमावेग

प्रस्फुटित प्रेम पाती

पी पी प्याला प्रेमरस

पागल पवन पहुँचाए पाती

प्यारी प्रियतमा

पहने पीत परिधान

पहुँचे पवित्र प्रकोष्ठ

पूजे परम पूज्य

प्राण प्रतिष्ठित पावन प्रतिमा

प्रज्वलित प्रदीप

पहनाये पुष्पहार

प्रति पल प्रार्थनारत

पावे प्रतिदान

प्रेम प्रसाद !



चित्र - गूगल से साभार


साधना वैद 

9 comments :

  1. अप्रतिम रचना अनुप्रास की अद्वितीय छटा भावनाओं का अनुपात संगम आदरणीया

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    1. हार्दिक धन्यवाद अभिलाषा जी ! आभार आपका !

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  2. बहुत सुंदर रचना

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    1. हार्दिक धन्यवाद भारती जी ! आभार आपका !

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  3. बहुत बहुत सुन्दर रच ना

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    1. हार्दिक धन्यवाद आलोक जी ! बहुत-बहुत आभार !

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  4. हार्दिक धन्यवाद मान्यवर !

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  5. वाह ! प्रत्येक पंक्ति का प्रारंभ समान अक्षर से, परंतु सौंदर्य और सार्थकता में कोई कमी नहीं । सादर।

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    1. हार्दिक धन्यवाद मीना जी ! आभार आपका !

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