रोज़ नए सुन्दर सुगन्धित फूलों से
उपवन सुरभित हो जाता है !
अनगिन लोगों की नज़र में फूलों का यह
अप्रतिम सौन्दर्य समाहित हो जाता है !
इतना आकर्षक जो होता है !
लेकिन धरा में गहरी जमी हुई
गुमनामी के अँधेरे में खोई
उस पेड़ की जड़ को कोई नहीं देखता
जिसकी वजह से ये आकर्षक फूल
रोज़ दर्शकों का मन मोहते हैं !
स्त्री पुरुष, बच्चे, बूढ़े, नौजवान
सभीके मनोभावों को गहनता से सोहते हैं !
गुमनामी में खोई उस जड़ को ज़रा
एक बार प्रकाश में तो लेकर आओ !
उसके बाहर आते ही पेड़ मुरझा जाएगा
सारे फूल धरा पर झर जायेंगे
और फूलों के रूप का जादू
पल भर में तिरोहित हो जाएगा !
खैर मनाओ कि इनका
यह लोकरंजक मनमोहक स्वरुप
तभी तक वन्दनीय है जब तक
इनकी जड़ें गुमनामी के अँधेरे में
धरा के नीचे अदृश्य हैं
और इन्हें सींच कर जिलाए हुए हैं
वरना जो इन जड़ों को भी
शोहरत और प्रकाश का चस्का लग गया
ये फल फूल स्वाद सौरभ
और इनका सौन्दर्य
सभी कुछ पल भर में
छिन्न भिन्न हो जायेंगे
नाम भले ही रह जाए लोगों की ज़ुबान पर
नयन सुख से सब वंचित हो जायेंगे !
साधना वैद